अब अवाप्ति अनुभाग/तहसील से एन.ओ.सी. की आवश्यकता नहीं
वाराणसी विकास प्राधिकरण (वीडीए) द्वारा मानचित्र स्वीकृत कराने की प्रक्रिया को और सरल बनाया गया है। पहले मानचित्र स्वीकृति के लिए अवाप्ति/सीलिंग अनुभाग से भू-स्वामित्व, अर्जन या सीलिंग की अनापत्ति प्रमाण पत्र (एन.ओ.सी.) लेना आवश्यक था। इससे आवेदकों को देरी और कठिनाई का सामना करना पड़ता था। इस समस्या को दूर करने के लिए उपाध्यक्ष श्री पुलकित गर्ग ने इस पुरानी व्यवस्था को समाप्त कर दिया है।
भू-स्वामित्व की जांच अब अवर अभियंता करेंगे
नई व्यवस्था के तहत अब भू-स्वामित्व संबंधित परीक्षण अवाप्ति/सीलिंग अनुभाग के बजाय अवर अभियंता द्वारा किया जाएगा।
कार्यशाला का आयोजन
30 नवंबर 2024 को इस नई व्यवस्था के सुचारु कार्यान्वयन के लिए प्राधिकरण सभागार में एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस कार्यशाला की अध्यक्षता उपाध्यक्ष श्री पुलकित गर्ग ने की। इसमें तहसीलदार द्वारा जोनल अधिकारियों और अवर अभियंताओं को नई व्यवस्था की जानकारी और आवश्यक दस्तावेज प्रदान किए गए।
विशेष निर्देश और निर्णय
- अर्जन/सीलिंग भूमि का विशेष परीक्षण:
यदि किसी भूमि/आराजी संख्या पर अर्जन या सीलिंग की स्थिति पाई जाती है, तो ऐसे मामलों में नगर नियोजन विभाग की सहमति के बाद ही प्रकरण अवाप्ति/सीलिंग अनुभाग या तहसील को भेजा जाएगा। - तालाब या सरकारी भूमि पर मानचित्र की मनाही:
आवेदन में यदि तालाब या सरकारी भूमि का उपयोग पाया जाता है, तो उस स्थिति में मानचित्र स्वीकृत नहीं होगा। - आर्किटेक्ट का चयन:
जोन कार्यालय द्वारा किसी विशेष आर्किटेक्ट का नाम आवेदक को प्रस्तावित नहीं किया जाएगा। आवेदक प्राधिकरण में पंजीकृत किसी भी आर्किटेक्ट से मानचित्र तैयार करवा सकते हैं।- पंजीकृत आर्किटेक्ट्स की सूची प्राधिकरण की वेबसाइट और जोन कार्यालय में उपलब्ध होगी।
- जोन कार्यालय की कार्यक्षमता में सुधार:
- जोन कार्यालय तक पहुंचने के लिए साइन बोर्ड लगाए जाएंगे।
- मुख्यालय को जोन कार्यालयों को और अधिक प्रभावी बनाने के लिए प्रस्ताव भेजा जाएगा।
- पारदर्शिता और सुविधा:
प्रक्रिया को सरल और पारदर्शी बनाने के लिए नागरिकों को बिना देरी के सुविधा प्रदान करने के निर्देश दिए गए हैं।
बैठक में प्रमुख अधिकारी उपस्थित
बैठक में सचिव वेद प्रकाश मिश्रा, अपर सचिव गुडाकेश शर्मा, संयुक्त सचिव परमानंद यादव, नगर नियोजक प्रभात कुमार, और सभी जोनल अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।
यह कदम वाराणसी विकास प्राधिकरण की कार्यप्रणाली को अधिक प्रभावी और जनसहयोगी बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण प्रयास है।