वाराणसी के तारापीठ धाम सूरजकुंड में महंत मोहित महाराज ने आज आमरण अनशन की शुरुआत की, जिसमें उनकी प्रमुख मांग अजय शर्मा जी की रिहाई है। महंत मोहित महाराज ने इस अनशन का उद्देश्य स्पष्ट करते हुए कहा कि काशी में साईं बाबा की पूजा को लेकर किसी भी प्रकार का विवाद नहीं होना चाहिए। उनका मानना है कि जिन भक्तों को साईं बाबा की पूजा करनी है, वे शांति से करें, और जिन्हें नहीं करनी है, वे न करें।
महंत मोहित महाराज ने कहा कि काशी में शांति और संयम बनाए रखना सभी का कर्तव्य है। उन्होंने अनुरोध किया कि शहर की मर्यादा को बनाए रखने के लिए किसी भी प्रकार की शांति व्यवस्था भंग नहीं होनी चाहिए। अनशन के दौरान महंत मोहित महाराज के साथ कई प्रमुख लोग भी उपस्थित रहे, जिन्होंने इस अनशन को समर्थन दिया।
इस मौके पर लकशा थाने के प्रभारी दयाराम अपने हमराहियों के साथ मौके पर पहुंचे और स्थिति पर नजर बनाए रखी। अनशन के दौरान उपस्थित लोगों ने शांति और संयम बनाए रखने का संदेश दिया, जिससे कि किसी भी प्रकार का विवाद उत्पन्न न हो और काशी की धार्मिक एकता और शांति बनी रहे।
महंत मोहित महाराज का यह कदम धार्मिक सहिष्णुता और शांति की दिशा में एक महत्वपूर्ण प्रयास है। उनका कहना है कि काशी की पवित्रता और सौहार्द को बनाए रखना आवश्यक है, और साईं बाबा की पूजा को लेकर कोई भी व्यक्ति स्वतंत्र है। उन्होंने सभी से आग्रह किया कि वे संयम और मर्यादा का पालन करते हुए शहर में शांति बनाए रखें।
अजय शर्मा की रिहाई के लिए यह अनशन तब तक जारी रहेगा जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होतीं। इस आयोजन ने काशी में धार्मिक समुदायों के बीच संवाद और शांति का संदेश देने का काम किया है।