कानपुर: बाकरगंज बाजार में भीषण आग, कई दुकानें राख

कानपुर के बाकरगंज बाजार में बुधवार तड़के आग लग गई। यह घटना इतनी अचानक और तेज थी कि कुछ ही मिनटों में आग ने पूरे बाजार को अपनी चपेट में ले लिया। घना धुआं दूर से दिखाई दे रहा था और आग की लपटें लगातार बढ़ती जा रही थीं। आसपास के लोगों ने पुलिस और फायर विभाग को तुरंत सूचना दी।

सूचना मिलते ही फायर ब्रिगेड की दस गाड़ियां मौके पर पहुंचीं। आग पर नियंत्रण पाने में लगभग तीन घंटे लग गए। इस दौरान दमकल कर्मियों ने लगातार पानी की बौछार की और किसी तरह लपटों को रोका। आग इतनी भयानक थी कि आसपास के दुकानदार अपनी दुकानें छोड़कर सामान बचाने में जुट गए, लेकिन बहुत कुछ बचाया नहीं जा सका।

घटना में लगभग 70 दुकानें पूरी तरह जलकर नष्ट हो गईं। इनमें ज्यादातर दुकानें कपड़े और किराना की थीं। कारोबारी संगठनों के मुताबिक एक दुकान में औसतन पांच लाख रुपये से अधिक का सामान था। अनुमान है कि इस अग्निकांड में कुल 3.5 से 4 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। इस हादसे के बाद व्यापारी दुखी और गुस्से में दिखाई दिए।

बाकरगंज बाजार करीब सौ साल पुराना बताया जाता है। कपड़ा कमेटी के अध्यक्ष मोहम्मद अमीन ने बताया कि बाजार का मालिकाना हक बाबूपुरवा अजीतगंज निवासी जुनैद के पास है और वह 250 से अधिक दुकानों से किराया लेते हैं। बाजार में ज्यादातर दुकानें टीनशेड और टट्टर की बनी हैं। यही वजह है कि आग लगने की घटनाएं अक्सर होती रहती हैं।

इतिहास उठाकर देखें तो 23 अप्रैल 2012 में भी इसी बाजार में भीषण आग लगी थी, जिसमें 200 से अधिक दुकानें जलकर नष्ट हो गई थीं। अंतिम बार 2017 में यहां आग की घटना हुई थी। व्यापारियों ने कई बार पक्की दुकानें बनाने की मांग उठाई। न तो बाजार मालिक ने ध्यान दिया और न ही प्रशासन ने कोई ठोस कदम उठाया। इस गंभीर हादसे के बाद व्यापारी फिर से पक्की दुकानें बनाए जाने की मांग कर रहे हैं।

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