RS Shivmurti

वाराणसी आयें तो इन मंदिरों में दर्शन जरूर करें, आपकी मनोकामना होगी पूरी…

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वाराणसी, जिसे काशी और बनारस के नाम से भी जाना जाता है, भारत का एक प्राचीन और पवित्र शहर है। यह शहर अपने धार्मिक और सांस्कृतिक धरोहर के लिए विश्व प्रसिद्ध है। यहाँ अनेक मंदिर स्थित हैं, जो श्रद्धालुओं और पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र हैं।

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काशी विश्वनाथ मंदिर

काशी विश्वनाथ मंदिर वाराणसी का सबसे प्रसिद्ध और महत्वपूर्ण मंदिर है। यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है और 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक है। इसका धार्मिक महत्व बहुत अधिक है और यहाँ हर दिन हजारों भक्त पूजा-अर्चना करने आते हैं। मंदिर की वास्तुकला और उसकी गंगा नदी के तट पर स्थिति इसे और भी विशिष्ट बनाती है।

संकट मोचन हनुमान मंदिर

यह मंदिर भगवान हनुमान को समर्पित है और इसे गोस्वामी तुलसीदास द्वारा स्थापित माना जाता है। यहाँ हर मंगलवार और शनिवार को विशेष पूजा और हनुमान चालीसा का पाठ होता है। इस मंदिर का वातावरण श्रद्धालुओं के लिए बहुत प्रेरणादायक और शांतिपूर्ण होता है।

दुर्गा मंदिर

दुर्गा मंदिर, जिसे “दुर्गा कुंड” के नाम से भी जाना जाता है, देवी दुर्गा को समर्पित है। यह मंदिर लाल पत्थरों से बना हुआ है और इसकी वास्तुकला उत्तर भारतीय शैली की है। इस मंदिर के पास ही एक बड़ा कुंड (तालाब) भी है, जो इसे और भी आकर्षक बनाता है।

तुलसी मानस मंदिर

यह मंदिर भगवान राम को समर्पित है और यहाँ रामचरितमानस के श्लोक संगमरमर की दीवारों पर उकेरे गए हैं। इस मंदिर का निर्माण 1964 में हुआ था और यह वाराणसी के सांस्कृतिक धरोहर का महत्वपूर्ण हिस्सा है। मंदिर के भीतर की मूर्तियाँ और शिलालेख रामायण की कथा को दर्शाते हैं।

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अन्नपूर्णा देवी मंदिर

यह मंदिर देवी अन्नपूर्णा को समर्पित है, जिन्हें भोजन और पोषण की देवी माना जाता है। काशी विश्वनाथ मंदिर के पास स्थित इस मंदिर का धार्मिक महत्व बहुत अधिक है। यहाँ भक्तों को भोजन का प्रसाद वितरित किया जाता है और यह स्थान आध्यात्मिक और सांस्कृतिक रूप से बहुत महत्वपूर्ण है।

भारत माता मंदिर

यह मंदिर भारत माता (माता भारत) को समर्पित है और इसका उद्घाटन महात्मा गांधी द्वारा 1936 में किया गया था। इस मंदिर में भारत का एक बड़ा नक्शा संगमरमर पर उकेरा गया है। यह मंदिर भारतीय स्वतंत्रता संग्राम और देशभक्ति की भावना को समर्पित है।

सारनाथ

सारनाथ, वाराणसी के पास स्थित एक बौद्ध तीर्थस्थल है, जहाँ भगवान बुद्ध ने अपना पहला उपदेश दिया था। यहाँ धमेक स्तूप, अशोक स्तंभ, और कई प्राचीन बौद्ध मंदिर हैं। यह स्थान बौद्ध धर्म के अनुयायियों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है।

वाराणसी के ये मंदिर केवल धार्मिक स्थलों के रूप में ही नहीं, बल्कि सांस्कृतिक और ऐतिहासिक धरोहर के रूप में भी महत्वपूर्ण हैं। यहाँ की धार्मिक गतिविधियाँ, तीर्थयात्रा, और पारंपरिक उत्सवों का अनुभव श्रद्धालुओं और पर्यटकों को एक अद्वितीय आध्यात्मिक और सांस्कृतिक अनुभव प्रदान करते हैं।

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Aditya