
3.60 करोड़ की हुई रिकवरी, पुलिस आयुक्त ने की साइबर सेल की समीक्षा
वाराणसी। पुलिस आयुक्त मोहित अग्रवाल की अध्यक्षता में साइबर सेल व साइबर थाना के कार्यों की मासिक समीक्षा बैठक पुलिस कैम्प कार्यालय सभागार में संपन्न हुई। बैठक में साइबर अपराधों की रोकथाम, पीड़ितों को त्वरित सहायता और जनजागरुकता अभियानों की समीक्षा के साथ भविष्य की रणनीतियों पर विचार किया गया। पुलिस आयुक्त ने मातहतों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। पुलिस आयुक्त ने बताया कि साइबर अपराध से निपटने के लिए तकनीकी और मानव संसाधनों का निरंतर सशक्तिकरण किया जा रहा है। बीते एक वर्ष में साइबर थाना की ओर से उल्लेखनीय कार्य किए गए हैं, जिनमें अंतरराष्ट्रीय और अंतरराज्यीय साइबर अपराधियों के गिरोह के 90 अपराधियों की गिरफ्तारी कर 3.60 करोड़ की रिकवरी शामिल है। साथ ही, न्यायालय में प्रभावी पैरवी कर दो साइबर अपराधियों को 7-7 वर्ष की सश्रम कारावास की सजा दिलाई गई। अंत अपराधियों पर गैंगस्टर एक्ट के तहत भी कार्रवाई की गई है।
सभी थानों पर साइबर हेल्प डेस्क की स्थापना की जाए, जहां प्रशिक्षित कर्मी पीड़ितों की शिकायतें दर्ज कर, प्रारंभिक जांच कर, साइबर सेल से समन्वय स्थापित करें। पुलिसकर्मियों को साइबर अपराध के मॉडस ऑपरेंडी, रोकथाम और अनावरण के लिए समय-समय पर प्रशिक्षित किया जाए। इसके साथ ही साइबर थाना और सेल में तैनात कर्मियों को डिजिटल फॉरेंसिक, डेटा एनालिटिक्स और साइबर इंटेलिजेंस जैसे तकनीकी क्षेत्रों में विशेषज्ञ प्रशिक्षण दिया जाए।
पुलिस आयुक्त ने जनजागरुकता की दिशा में व्यापक अभियान चलाने के निर्देश भी दिए गए। आमजन को साइबर अपराधों की जानकारी देने और बचाव के उपाय सिखाने हेतु स्कूल-कॉलेजों में कार्यशालाएं, सोशल मीडिया पर वीडियो इंफोग्राफिक्स, ग्रामीण क्षेत्रों में एनीमेटेड वीडियो और नुक्कड़ नाटक के माध्यम से जागरूकता फैलाने की योजना है। बच्चों के लिए “साइबर सेफ किड्स” कार्यक्रम और युवाओं को प्रशिक्षित करने हेतु “डिजिटल वॉरियर” अभियान की शुरुआत की जाएगी। पुलिस आयुक्त ने लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी और बताया कि फर्जी कॉल, जॉब ऑफर, डिजिटल गिरफ्तारी और लुभावने निवेश योजनाएं अक्सर साइबर ठगी का हिस्सा होती हैं। संदिग्ध लिंक पर क्लिक न करें, निजी जानकारी साझा न करें और मजबूत पासवर्ड व टू-फैक्टर ऑथेंटिकेशन का उपयोग करें। साइबर अपराध की स्थिति में पीड़ितों को सलाह दी गई कि वे पहले 24 घंटे में साइबर हेल्पलाइन 1930 पर कॉल करें, साइबरक्राइम पोर्टल cybercrime.gov.in पर शिकायत दर्ज करें और बैंक को सूचना देकर खाता फ्रीज़ कराएं। मीटिंग में पुलिस उपायुक्त अपराध प्रमोद कुमार, अपर पुलिस उपायुक्त श्रुति श्रीवास्तव, सहायक पुलिस आयुक्त अपराध सहित अन्य अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।