उत्तर प्रदेश के बहराइच में दुर्गा प्रतिमा के विसर्जन के दौरान हुए विवाद ने हिंसा का रूप ले लिया। इस घटना में एक युवक की मौत हो गई, जिसके बाद पूरे शहर में भारी तनाव फैल गया। उपद्रवी सड़कों पर उतर आए और उन्होंने हाथ में लाठी-डंडे लेकर कई दुकानों और शोरूमों में जमकर तोड़फोड़ की। कई स्थानों पर आगजनी की भी घटनाएं हुईं। स्थिति को काबू में करने के लिए जिला प्रशासन के डीएम और एसपी सहित पुलिस बल सड़कों पर तैनात रहे, लेकिन उपद्रवियों पर उनकी कोशिशों का कोई असर नहीं दिखा।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर बहराइच में तैनात उच्च अधिकारी
घटना के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लखनऊ में वरिष्ठ अधिकारियों के साथ एक उच्चस्तरीय बैठक बुलाई। बैठक में मुख्यमंत्री ने स्पष्ट रूप से निर्देश दिए कि हिंसा करने वालों से सख्ती से निपटा जाए और अफवाह फैलाने वालों पर भी कड़ी कार्रवाई की जाए। सीएम योगी ने कहा कि दोषियों की जल्द से जल्द गिरफ्तारी सुनिश्चित की जाए। साथ ही उन्होंने यह भी निर्देश दिया कि अगर आवश्यकता हो, तो लखनऊ से उच्च अधिकारियों को भी मौके पर भेजा जाए। इसके तहत एसटीएफ (स्पेशल टास्क फोर्स) चीफ अमिताभ यश और गृह सचिव संजीव गुप्ता बहराइच भेजे गए।
अमिताभ यश का एक्शन और उपद्रवियों पर काबू
बहराइच पहुंचते ही एसटीएफ चीफ अमिताभ यश ने उपद्रवियों के खिलाफ मोर्चा संभाल लिया। उनका एक अलग रूप इस घटना के दौरान देखने को मिला। अमिताभ यश का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा जिसमे वह पुलिस बल के साथ बहराइच की सड़कों पर उपद्रवियों को दौड़ाते हुए नजर आए। खास बात यह थी कि उन्होंने अपने हाथ में पिस्टल थाम रखी थी, जिससे उपद्रवियों में डर फैल गया। दूसरी तरफ, उनके दूसरे हाथ में चश्मा और मोबाइल था। इस नजारे का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि उपद्रवी अमिताभ यश को देखकर सरेंडर करते हुए भाग रहे थे, जबकि यश उन्हें पकड़ने के लिए उनके पीछे-पीछे दौड़ रहे थे।
स्थिति पर कड़ी निगरानी और कार्रवाई
अमिताभ यश और स्थानीय पुलिस बल की त्वरित कार्रवाई के बाद स्थिति धीरे-धीरे नियंत्रण में आने लगी। इस पूरे ऑपरेशन के दौरान एसटीएफ चीफ का सक्रिय और आक्रामक रुख सामने आया, जिसे लेकर सोशल मीडिया पर उनकी सराहना की जा रही है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशानुसार, दोषियों को पकड़ने और उन्हें कानून के दायरे में लाने के लिए लगातार छापेमारी की जा रही है।
अफवाहों पर सख्ती और प्रशासन की रणनीति
मुख्यमंत्री ने प्रशासन को यह भी निर्देश दिया कि हिंसा के पीछे की अफवाहों को फैलने से रोका जाए। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया पर भी कड़ी निगरानी रखी जाए ताकि कोई असामाजिक तत्व स्थिति का फायदा उठाकर और अफवाह न फैला सके। पुलिस ने इस बीच उपद्रवियों की पहचान शुरू कर दी है और उनकी गिरफ्तारी के प्रयास किए जा रहे हैं।